नई दिल्ली । पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव अंतिम दौर में हैं। दस मार्च को चुनाव परिणाम घोषित किए जाएंगे। कांग्रेस को पंजाब, उत्तराखंड, गोवा और मणिपुर में बेहतर प्रदर्शन का भरोसा है। पार्टी को यकीन है कि वह स्पष्ट बहुमत के साथ सरकार बनाएगी। चुनाव नतीजे उम्मीद के खिलाफ हुए तो पार्टी ने प्लान बी भी तैयार कर लिया है। ताकि, फौरन विधायकों की बाड़ेबंदी कर टूट को रोका जा सके। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी से रविवार को हुई मुलाकात में इस मुद्दे पर चर्चा हुई। पार्टी के एक वरिष्ठ नेता के मुताबिक, जरूरत पड़ी तो इन राज्यों के विधानसभा सदस्यों को राजस्थान के उदयपुर और छत्तीसगढ़ के जगदलपुर में शिफ्ट किया जा सकता है। इसके लिए सभी इंतजाम पूरे कर लिए गए हैं। पंजाब कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि हम सभी उम्मीदवारों के संपर्क में हैं। उम्मीदवारों को बताया गया है कि चुनाव में जीत होती है तो फौरन वरिष्ठ नेताओं से संपर्क करें। विधायकों के समन्वय के लिए पार्टी हर प्रदेश में एक वरिष्ठ नेता को जिम्मेदारी सौंपने की तैयारी कर रही है। ताकि, किसी तरह की कोई परेशानी न आए और वह अपने विधायकों को एकजुट रखने में सफल रहें। दरअसल, वर्ष 2017 के चुनाव में कांग्रेस मणिपुर और गोवा में सबसे ज्यादा सीट जीतने के बावजूद सरकार बनाने में विफल रही थी। पार्टी के कई विधायकों ने भाजपा के सरकार बनाने की राह आसान करने के लिए विधानसभा से इस्तीफा दे दिया था। इसके अलावा पिछले पांच वर्षों में सबसे ज्यादा कांग्रेस के विधायकों ने पार्टी छोड़ी है। इनमें से ज्यादा विधायक भाजपा में शामिल हुए हैं।